Wednesday, October 13, 2010

बजरंग बाण -2

पीड़ा हरण का अकाट्य उपाय - बजरंग बाण
हिन्दू धर्म में भगवान शिव के रुद्रावतार श्री हनुमान संकटमोचक देवता माने जाते हैं। धर्मग्रंथों में भी बताया गया है कि इनकी साधना और उपासना से दु:ख और ग्रह पीड़ाएं भी दूर हो जाती है।
श्री हनुमान, बजरंगबली के नाम से भी प्रसिद्ध है। इनकी साधना के लिए अनेक मंत्र, स्त्रोत, चालीसा, स्तवन हैं। इनमें से ही एक है बजरंग बाण। जिसका पाठ अद्भूत प्रभावकारी माना जाता है।
बजरंग बाण के पाठ से न केवल भयंकर देह पीड़ा और कष्ट, भय, दरिद्रता, भूत-प्रेत बाधाओं से छुटकारा मिल जाता है, बल्कि व्यक्ति की हर सांसारिक कामनाओं की पूर्ति और मनोरथ सिद्ध होते हैं। व्यक्ति भयरहित और विश्वास से भर जाता है।
श्री हनुमान की साधना और भक्ति के लिए शनिवार और मंगलवार के दिन श्रेष्ठ माने जाते हैं। इसलिए अपने कष्ट निवारण और कामनापूर्ति के लिए इन २ दिनों में बजरंग बाण का जप शुरु करें।
अगर कार्य की व्यस्तता के कारण किसी व्यक्ति के पास समय का अभाव हो तब वह यह जप सप्ताह में एक दिन मंगलवार को करे। नियमित पाठ से इस के अदृश्य सकारात्मक प्रभाव पाएंगे।

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